भाजपा ने राहुल गांधी के ‘विनिर्माण क्षेत्र में गिरावट’ वाले बयान की कड़ी आलोचना की


नयी दिल्ली. भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बुधवार को कांग्रेस नेता राहुल गांधी के इस दावे को ‘भारत विरोधी’ करार दिया कि देश में विनिर्माण क्षेत्र में गिरावट आ रही है. भाजपा ने दावा किया कि देश में उत्पादन ‘लगातार बढ़ रहा है’. सत्ताधारी पार्टी ने लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष पर विदेश में की गई अपनी टिप्पणियों से भारत को अपमानित करने का आरोप लगाया.
म्यूनिख में ‘बीएमडब्ल्यू वेल्ट’ और ‘बीएमडब्ल्यू प्लांट’ के दौरे के बाद गांधी ने बुधवार को कहा कि विनिर्माण मजबूत अर्थव्यवस्थाओं की रीढ़ है, लेकिन भारत में इस क्षेत्र में गिरावट आ रही है. कांग्रेस नेता ने इंस्टाग्राम पर एक पोस्ट में कहा कि भारत को विकास में तेजी लाने के लिए सार्थक विनिर्माण पारिस्थितिकी तंत्र बनाने की आवश्यकता है. गांधी फिलहाल जर्मनी के दौरे पर हैं. गांधी की टिप्पणियों पर तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता संबित पात्रा ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष का पद महत्वपूर्ण होता है और इस पद पर आसीन व्यक्ति को ‘जिम्मेदारी से व्यवहार करना चाहिए’ खासकर विदेशी धरती पर.
पात्रा ने आरोप लगाया, ”लेकिन राहुल गांधी और जिम्मेदारी कभी साथ-साथ नहीं चल सकते.” भाजपा सांसद ने कहा, ”राहुल गांधी की बार-बार विदेश यात्राएं और विदेशी धरती से भारत का अपमान करना और भारत विरोधी बयान देना, स्पष्ट रूप से दर्शाता है कि राहुल गांधी और कांग्रेस पार्टी भारत के प्रति किस तरह की भावनाएं रखते हैं.” गांधी के दावे को खारिज करते हुए पात्रा ने कहा कि उत्पादन से जुड़ी प्रोत्साहन योजना (पीएलआई) और सरकार द्वारा शुरू की गई अन्य पहलों के माध्यम से भारत में उत्पादन ‘लगातार बढ़ रहा है.
उन्होंने कहा, ”यह स्पष्ट करना महत्वपूर्ण है कि औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (आईआईपी) वर्तमान में सकारात्मक वृद्धि की ओर अग्रसर है. भारत के विनिर्माण क्षेत्र ने जुलाई 2025 में 5.4 प्रतिशत और सितंबर 2025 में 4.8 प्रतिशत की वृद्धि दर दर्ज की.”
पात्रा ने कहा कि भारत की मौजूदा सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) वृद्धि दर 8.2 प्रतिशत है, जो दुनिया की सबसे अच्छी वृद्धि दरों में से एक है. उन्होंने जोर देकर कहा, ”स्वाभाविक रूप से विनिर्माण क्षेत्र इस वृद्धि में लगभग 17 प्रतिशत का योगदान देता है.” पात्रा ने आरोप लगाते हुए कहा, ”लेकिन राहुल गांधी को कोई सकारात्मकता नजर नहीं आती. उन्हें भारत में कुछ भी अच्छा नहीं दिखता. जब भी वह विदेश जाते हैं, तो किसी न किसी तरह से संसद और भारत का अपमान करके ही लौटते हैं.”





